• Tue. Sep 23rd, 2025

काशी के इतिहास में पहली बार हुआ ऐसा: 29 शैव, 5 शाक्त और 4 वैष्णव मंदिर में हुआ पूजन; भक्त बोले- हर हर महादेव

ByAdmin Office

Sep 3, 2024

 

 

*वाराणसी :* काशी विश्वनाथ मंदिर धाम में समस्त रुद्राभिषेक माहेश्वरी समाज के देश भर से आए श्रद्धालुओं ने किए। माहेश्वरी समाज के अधिकांश श्रद्धालु महाराष्ट्र से आए थे। श्रद्धालुओं ने मंदिर न्यास की प्रशंसा करते हुए धन्यवाद भी दिया। अनुष्ठान में प्रतिभाग करने वालों में व्हीलचेयर पर आए वरिष्ठ नागरिकों ने भी व्यवस्था की प्रशंसा की।

देवान्भावयतानेन ते देवाभावयन्तु वः, परस्परं भावयन्तः श्रेयः परमवाप्स्यथ।। यानी यज्ञ के द्वारा देवताओं को उन्नत करो और वे देवता तुम लोगों को उन्नत करें।

इस प्रकार तुम लोग परम कल्याण को प्राप्त हो जाओगे। इसी कामना के साथ काशी विश्वनाथ धाम के सभी विग्रहों का एक साथ पूजन हुआ। काशी के इतिहास में मंदिर क्षेत्र के 52 स्थानों पर रविवार की भोर में एक साथ एक समय अर्चकों ने पूजन आरंभ किया।

श्री काशी विश्वनाथ का धाम पहली बार शैव, वैष्णव और शाक्त परंपरा के एक साथ पूजन का साक्षी बना। रुद्राभिषेक के साथ मां भगवती और भगवान विष्णु के मंत्र एक साथ धाम के मंदिरों में गुंजायमान हो उठे। दो घंटे से अधिक समय तक विश्व कल्याण की कामना से चले अनुष्ठान के दौरान 29 शैव, आठ गणपति, पांच शाक्त, चार वैष्णव और तीन हनुमानजी के मंदिरों में पूजन हुआ।

सुबह चार बजे से प्रारंभ हुआ देवताओं की आराधना का महायज्ञ लगभग दो घंटे में संपन्न हुआ। श्री काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास और श्री ठाणे महेश्वर मंडल के संयोजन में देश भर से पधारे माहेश्वरी समाज के लोगों ने धाम में रुद्राभिषेक और पूजन किया।

न्यास की कार्यपालक समिति के सभापति व मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा के निर्देश पर श्री काशी विश्वनाथ मंदिर न्यास ने सभी देव विग्रह की विशिष्ट आराधना का संकल्प लिया था। रुद्राभिषेक के अतिरिक्त अन्य आराधना में न्यास के अधिकारी, प्रयागराज के मंडलायुक्त, काशी के स्थानीय यजमान की भूमिका में रहे। माहेश्वरी समाज ने सीईओ विश्वभूषण मिश्र को सम्मानित भी किया।


There is no ads to display, Please add some
Post Disclaimer

स्पष्टीकरण : यह अंतर्कथा पोर्टल की ऑटोमेटेड न्यूज़ फीड है और इसे अंतर्कथा डॉट कॉम की टीम ने सम्पादित नहीं किया है
Disclaimer :- This is an automated news feed of Antarkatha News Portal. It has not been edited by the Team of Antarkatha.com

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *