
चार बार फट चुकी है नदी, ग्रामीणों ने सिंह नेचुरल कंपनी पर लगाया ‘हेवी ब्लास्टिंग’ से सतह कमजोर करने का आरोप; DC से तत्काल हस्तक्षेप की मांग
कतरास-करकेंद क्षेत्र की एकड़ा नदी में लगातार दरारें पड़ना एक गंभीर चिंता का विषय बन गया है। बुधवार सुबह फिर नदी में एक बड़ी दरार उभर आई और पानी तेजी से बाहर फैलने लगा। हाल के दिनों में यह चौथी बार है जब नदी फटने की घटना सामने आई है। नदी के लगातार फटने और जमीन धंसने की घटनाओं ने इस इलाके के ग्रामीणों में भारी भय और असुरक्षा पैदा कर दी है।

उत्खनन और ब्लास्टिंग पर सीधा आरोप

ग्रामीणों ने इस खतरनाक स्थिति के लिए सीधे तौर पर नदी के दूसरी ओर चल रहे उत्खनन कार्य को जिम्मेदार ठहराया है।
उत्खनन क्षेत्र: बीसीसीएल के पीबी एरिया में चल रहा खनन कार्य।
आरोपित कंपनी: खनन का काम सिंह नेचुरल कंपनी द्वारा किया जा रहा है।
ग्रामीणों का दावा: ग्रामीणों का आरोप है कि यहाँ रोजाना होने वाली हेवी ब्लास्टिंग से नदी की सतह कमजोर हो गई है। उनके अनुसार, लगातार कंपन के कारण नदी में आंच आ रही है और यह जगह-जगह से फटने लगी है।
“हर दिन धमाका होता है। जमीन कांपती है। पहले फटने की आवाज़ आती है, फिर नदी में दरार दिखाई देती है। यह प्रकृति के साथ सीधा खिलवाड़ है।” — स्थानीय ग्रामीण
मरम्मत सिर्फ औपचारिकता
ग्रामीणों ने विभाग द्वारा किए जा रहे मरम्मति कार्यों को भी ‘आई-वॉश’ करार दिया है। उनका कहना है कि मरम्मत का काम किया जाता है, लेकिन अगले ही दिन नई दरार दिख जाती है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि ब्लास्टिंग नहीं रोकी गई, तो नदी को बचाना संभव नहीं होगा।
गांवों पर बढ़ा खतरा
लगातार हो रही दरारों और मरम्मति के दौरान नदी के प्राकृतिक फैलाव को संकुचित कर दिए जाने से नदी का दायरा सिमट गया है।
ग्रामीणों ने आशंका जताई है कि यदि नदी का अस्तित्व खत्म हो गया, तो आसपास के कई गांव बर्बाद हो जाएंगे।
नदी का दायरा कम होने से आस-पास के गांवों में बाढ़, जमीन धंसने और घरों को क्षति का खतरा बढ़ गया है।
जिला प्रशासन से हस्तक्षेप की मांग
ग्रामीणों ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए उपायुक्त (DC) से मामले में तत्काल हस्तक्षेप की मांग की है। उनकी प्रमुख माँगे हैं:
पीबी एरिया में चल रही भारी ब्लास्टिंग पर तत्काल रोक लगे।
विशेषज्ञ टीम से नदी और उत्खनन क्षेत्र की गहन जांच कराई जाए।
नदी के संरक्षण के लिए स्थायी समाधान निकाला जाए।
ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि समय रहते कदम नहीं उठाए गए, तो हालात और अधिक गंभीर हो जाएंगे।
There is no ads to display, Please add some







Post Disclaimer
स्पष्टीकरण : यह अंतर्कथा पोर्टल की ऑटोमेटेड न्यूज़ फीड है और इसे अंतर्कथा डॉट कॉम की टीम ने सम्पादित नहीं किया है
Disclaimer :- This is an automated news feed of Antarkatha News Portal. It has not been edited by the Team of Antarkatha.com
