

नही रहे झरिया को बचाने वाले मुरारी शर्मा
अपने बुलंद होशलों एवं झरिया शहर के अस्तित्व की आवाज को बुलंदी से उठाने वाले मुरारी शर्मा जी का निधन हो गया है। उनके इस आकस्मिक निधन से झरिया वासियों को गहरा सदमा लगा है। बता दे कि मुरारी शर्मा जी एक एक दृढ़ संकल्पित व्यक्ति दे जिन्होंने झरिया के अस्तित्व को बचाए रखने के लिए आजीवन लंबी लड़ाई लड़ी। झरिया कोलफील्ड बचाओ समिति के अध्यक्ष एवं कोयलांचल के मानिंद बुद्धिजीवियों में से एक मुरारी शर्मा का आकस्मिक निधन से समस्त कोयलांचल वासियों में शोक की लहर दौड़ गई है। मुरारी शर्मा जी 77 वर्ष के थे. आज सुबह उन्हें बेचैनी की शिकायत हुई, पसीना आया और उसके तत्काल बाद प्राणांत हो गया. आनन-फानन में डॉक्टर को बुलाया गया. उन्होंने जब चेक किया, तब तक श्री शर्मा दुनिया-ए-फानी से कूच कर चुके थे. वे अपने पीछे पत्नी, चार पुत्रियां, दामाद समेत भरा-पूरा परिवार छोड़ गए हैं. उनके निधन ने कोयलांचल में शोक की लहर दौड़ गयी है। उनके निधन पर शोक जताते हुए जीटा महासचिव राजीव शर्मा ने कहा कि, “मुरारी जी के निधन की खबर सुनकर स्तब्ध हूं. उनका जाना झरिया कोलफील्ड बचाओ समिति के साथ-साथ मेरे लिए व्यक्तिगत क्षति है. वे विषयों को समझने वाले गंभीर इंसान थे. उनकी कमी पूरी नहीं की जा सकती है। देशबन्धु सिनेमा के संचालक गोपाल अग्रवाल , झरिया झरिया चेम्बर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष अमित साहू , कोयलांचल नागरिक मंच के राजकुमार अग्रवाल , श्रीकांत अम्बष्ट , शिवचरण शर्मा समेत कई गणमान्य लोगों ने भी श्री शर्मा के निधन पर गहरा शोक जताया है.
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